सदन संविधान का मंदिर है यहां गरिमापूर्ण आचरण करना जरूरी : ओम बिरला

  • लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने छत्तीसगढ़ विधानसभा में प्रबोधन कार्यक्रम में विधायकों से पुरानी बहस को सुनने की नसीहत दी

नागरिक सत्ता, रायपुर। लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने छत्तीसगढ़ विधानसभा के दो दिवसीय प्रबोधन कार्यक्रम के पहले दिन विधायकों को विधानसभा में मुद्दों को रखने की तरीके बताए। ओम बिरला ने कहा कि सदन संविधान का मंदिर है यहां गरिमापूर्ण आचरण करना चाहिए। इस अवसर पर उत्तर प्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष सतीश महाना भी मौजूद रहे। 

श्री बिरला ने नये विधायकों को पुरानी कार्यवाही की बहस को सुनने की सलाह देते हुए कहा कि पुरानी बहसों को सुनने से मुद्दों की समझ गहरी होती है। छत्तीसगढ़ अपनी प्राकृतिक सम्पदा, सौंदर्य, अध्यात्मिक और सांस्कृतिक समृद्धि का प्रतीक है। आप सभी का सौभाग्य है कि आपको इस विधानसभा के सदस्य होने का मौका मिला है। जनता की आकांक्षाओं पर खरा उतरें। 

  • विधानसभा में पूरे प्रदेश से जुड़े मुद्दे उठाएं

ओम बिरला ने कहा जो विधायक विधानसभा में जितना ज्यादा बैठता है। वो विधानसभा में अपने विचार उतने ही बेहतर तरीके से रख पाता है और इस तरह से अपने क्षेत्र का बेहतर प्रतिनिधित्व करता है। केवल अपने क्षेत्र की समस्याएं न रखें बल्कि राष्ट्रीय और अंतराष्ट्रीय परिदृश्य को देखते हुए पूरे प्रदेश से जुड़े मुद्दे विधानसभा में रखें।

  • क्षेत्र के अधिक विकास के लिए टेक्नोलॉजी का ज्यादा प्रयोग करें

ओम बिरला ने कहा कि आप टेक्नोलॉजी का ज्यादा से ज्यादा उपयोग करें। ताकि क्षेत्र का विकास अधिक से अधिक हो सके। पिछड़े क्षेत्र के विधायकों की जवाबदारी ज्यादा बढ़ जाती है, उन क्षेत्रों में विकास अच्छी तरह हो सके और जो विधायक ऐसे क्षेत्र के हैं जो पिछड़े नहीं हैं, उन क्षेत्रों में भी विशेष कार्य करने की आवश्यकता होती है।


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