राष्ट्र के निर्माण में नारी शिक्षा की भूमिका अहमः डॉ. नरेन्द्र कुमार

  •  राष्ट्रीय सेवा योजना का चौथा दिन

देवरिया (नागरिक सत्ता)। बीआरडी पीजी कॉलेज देवरिया के राष्ट्रीय सेवा योजना के सात दिवसीय विशेष शिविर के चौथे दिन स्वंयसेवकों एवं स्वयंसेविकाओं ने एनएसएस लक्ष्य गीत के पश्चात पूर्वचयनित ग्राम मूड़ाडीह के ग्रामप्रधान रामानुज तिवारी के साथ गांव के मलिन बस्ती में साफ-सफाई, कूड़ा निवारण एवं रैली के द्वारा स्वच्छता का संदेश देते हुए समूह बनाकर लोगों को जागरूक किया। उन्होंने साथ ही निरक्षर लोगों को अक्षर ज्ञान के साथ शिक्षा के महत्व को भी बताया। 

स्वयंसेविकाओं ने घर-घर जाकर गांव की बुजुर्ग महिलाओं से मिलकर रीति-रिवाज, परम्पराओं  के बारे में जानकारी हासिल की तथा रूढ़ियों और कुरीतियों के विरुद्ध उन्हें सजग किया साथ ही उनकी दैनिक जीवन की समस्याओं को भी जानने का प्रयास किया। 

इस अवसर पर कार्यक्रम अधिकारी डॉ नरेंद्र कुमार ने कहा कि शिक्षा जीवन पर्यंत चलने वाली विधा है इसे औपचारिक और अनौपचारिक दोनों रूपों में ग्रहण किया जा सकता है। एक लड़की को शिक्षित करने का मतलब दो पीढ़ी को शिक्षित करना होता है। अतः बिना किसी भेदभाव के बेटियों को शिक्षित करें जिससे हमारा समाज शिक्षित, सशक्त और समृद्ध बने।

बौद्धिक सत्र में अंग्रेजी विभाग के अध्यक्ष डॉ अभिषेक तिवारी ने महिला सशक्तिकरण के आयामों पर चर्चा करते हुए कहा कि नारीवाद की चार धाराएं हैं। इसमें चौथी धारा यह बताती है कि नारी अधिकार ही मानवाधिकार है और मानवाधिकार ही नारी अधिकार है इसे उन्होंने तमाम उदाहरणों से पुष्ट भी किया तथा विद्यार्थियों की जिज्ञासाओं का निवारण किया। उक्त अवसर पर कार्यक्रम अधिकारी डॉ प्रद्योत कुमार सिंह, डॉ सुधीर कुमार, डॉ ज्ञानेंद्र सिंह, डॉ केके ओझा, डॉ अभिषेक तिवारी, डॉ आद्या शंकर आदि शिक्षक उपस्थित रहे।

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