संविधान दिवस की 70वी वर्षगांठ पर एक दिवसीय विशेष सत्र का आयोजन


लखनऊ (उ0प्र0)। संविधान दिवस की 70वी वर्षगांठ के मौके पर विधानमंडल का एक दिवसीय विशेष सत्र आहूत किया गया। इसके संयुक्त अधिवेशन में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने दोनों सदनों के सदस्यों को संबोधित किया। इस मौकेे पर कांग्रेस के सदस्यों ने सत्र का बहिष्कार किया। अपने सत्रह मिनट के सम्बोधन में राज्यपाल ने प्रदेश सरकार द्वारा किए गए विकास कार्यो और उसकी भावी योजनाओं का विस्तार से उल्लेख किया। अपने अभिभाषण के दौरान उन्होंने केन्द्र सरकार द्वारा जम्मू-कश्मीर से धारा 370 और 35ए हटाए जाने के निर्णय को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि देश में एक विधान, एक निशान और एक संविधान का सपना साकार हुआ है। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार की जनकल्याणकारी विभिन्न योजनाओं को राज्य सरकार ने सफलतापूर्वक क्रियान्वित किया है।



राज्यपाल ने अपने अभिभाषण के दौरान प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा संचालित प्रधानमंत्री आवास योजना, कुंभ तथा अयोध्या में दीपावली के मौके पर आयोजित समारोह का उल्लेख करते हुए कहा कि इन आयोजनों से स्पष्ट है कि प्रदेश सरकार जनाकांक्षाओं की कसौटी पर खरी उतरी है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत जहां 25 लाख से अधिक आवास निर्मित किए गए। प्रधानमंत्री आवास निर्माण में उत्तर प्रदेश ने देशभर में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। राज्यपाल ने कहा कि स्वच्छता अभियान को जन-जन तक पहंुचाने की गरज से ग्रामीण क्षेत्रों दो करोड़ 61 लाख  इज्जत घर देकर देश भर में यूपी ने प्रथम स्थान प्राप्त किया है। इसके साथ प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना  में अन्र्तगत 96 हजार गरीब कन्याओं का विवाह संपन्न कराया गया। राज्य महिला सशक्तीकरण मिशन के अंर्तगत मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना, किशोरी बालिका सशक्तीकरण योजना सबला, स्वाधार योजना, उज्जवला योजना, बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओं योजना तथा महिला हेल्पलाइन जैसी योजनाओं का प्रदेश में सफल क्रियान्वयन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि संविधान दिवस की सार्थकता के अभी काफी प्रयास किए जाने शेष है। इस मौके पर उन्होंने दोनों सदनों के सदस्यों का आव्हान किया कि अपने सामजिक जीवन में ऐसे उदाहरण प्रस्तुत करे जिनसे नागरिकों में संवैधानिक चेतना का प्रसार हो। 
विधानसभाध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित ने कहा कि भारत का संविधान भिन्न प्रकृति और प्रकार का है। कोई भी देश बिना नियमों और संविधान के  नहीं चल सकता। देश के संविधान का इतिहास काफी प्राचीन है। ऐसा अनुकर्णीय संविधान विश्व के किसी दूसरे देश में देखने को नहीं मिलता। 



नेता प्रतिपक्ष राम गोविन्द चैधरी ने चर्चा  के दौरान कहा कि राज्यपाल का अभिभाषण सुनकर नहीं लगा कि यह संविधान दिवस का भाषण था बल्कि लग रहा था कि यह राज्यपाल का बजट अभिभाषण है। उन्होंने कहा कि इस सत्र के जरिये विपक्ष को धोखा दिया गया है। संविधान को सामने रखकर सरकार ने अपनी पीठ थपथपाने का काम किया है। कम से कम संविधान पर चर्चा करने के लिए कम से कम दो दिन का सत्र आहूत होना चाहिए था। संविधान दिवस के मौके पर यह सत्र केवल सरकार द्वारा अपनी उपलब्धियां बखान करने के लिए बुलाया गया है। उन्होंने कहा कि संविधान दिवस मना रही सरकार ने सबसे ज्यादा संविधान की हत्या की है उसकी मर्यादा को तार-तार किया है। चार दिन पहले जो महाराष्ट्र में हुआ वह सबके सामने है। महाराष्ट्र में जिस दल ने दावा ही नहीं किया उसकी सरकार बनवा दी गयी। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि महाराष्ट्र से पहले बिहार, कर्नाटक, अरूणांचल प्रदेश में संविधान की धज्जियां उडाई गयीं। प्रदेश तोड़ने, दिल तोड़नेवाली भारतीय जनता पार्टी का वश चले तो वह अपने स्वार्थ के लिए देश भी तोड़ दे। उन्होंने भाजपा पर राज्यों को खण्डित करने का आरोप लगाते हुए कहा कि जैसे धारा 370 हटाई गयी वैसे नागालैण्ड से 371 क्यों नहीं हटायी गयी। संविधान की आड़ में लोगों में नफरत पैदा की जा रही है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि भाजपा और उसकी सरकारों ने संवैधानिक संस्थाओं को भी अपनी कठपुतली बना लिया है। चुनाव आयोग भी निष्पक्ष नहीं रह गया है। नेता प्रतिपक्ष के इन तर्कों को खारिज करते हुए संसदीय कार्य मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने कहा इस सदन में राज्यपाल की भूमिका पर चर्चा नहीं होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि संविधान की दुहाई वो लोग दे रहे हैं, जिन्होंने सबसे ज्यादा सदनों में हंगामा मारपीट और हाथापाई की। 



बसपा विधान मण्डल दल के नेता लालजी वर्मा ने कहा कि भाजपा  और उसकी सरकार ने संविधान दिवस पर संविधान की गरिमा गिराने का काम किया है। सबसे ज्यादा संविधान की धज्जियां उड़ानेवाली भारतीय जनता पार्टी आज लोगों को संविधान की प्रासंगिकता समझा रही है। संविधान विरोधी कृत्यों को अंजाम देने में भाजपा का कोई सानी नहीं है। राज्यपाल के अभिभाषण में जो भी उपलब्धियां गिनायी गयी हैं। हकीकत से वे सब कोसों दूर हैं। इस चर्चा में अपना दल के नेता नीलरतन पटेल ने भी हिस्सा लिया। उन्होंने कहा कि योगी सरकार ने अपने अब तक के कार्यकाल में जनता से किये गये वायदों को अमलीजामा पहनाने में कोई कसर नहीं छोड़ रखी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जो कहा सो किया के फार्मूले पर काम कर रहे हैं। इस चर्चा में कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह, बेसिक शिक्षा मंत्री डा0सतीश द्विवेदी सहित सदन के अन्य सदस्यों ने भी हिस्सा लिया। 


टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

भाषा विश्वविद्यालय में परीक्षा को नकल विहीन बनाने के लिए उठाए गये कड़े कदम

यूपी रोडवेज: इंटर डिपोज क्रिकेट टूर्नामेंट के फाइनल में कैसरबाग डिपो ने चारबाग डिपो को पराजित किया

भाजपा की सरकार ने राष्ट्रवाद और विकास को दी प्राथमिकताः नीरज शाही