विधान परिषद में नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में विपक्ष ने किया हंगामा


लखनऊ। विधान परिषद में नागरिकता संशोधन अधिनियम और इसके विरोध में हुए छात्र आन्दोलनों के दौरान हुए लाठी चार्ज का मामला दिनभर गूंजा। मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी, कांग्रेस और बहुजन समाज पार्टी के विरोध के चलते प्रश्न प्रहर नहीं हुआ। सपा और कांग्रेस ने वेल में आकर हंगामा किया, जबकि बसपा ने सदन से वाक आउट किया। इस दौरान अधिष्ठाता ओम प्रकाश शर्मा ने दो बार सदन की कार्यवाही स्थगित की। 



हंगामें के बीच द्वितीय अनुपूरक बजट सदन के पटल पर रखा गया


नेता सदन डा0 दिनेश शर्मा ने वित्तीय वर्ष 2019-20 के  लिए 421085.40 लाख रूपये का द्वितीय अनुपूरक अनुदान की मांगों को सदन के पटल पर रखा। भोजनावकाश के बाद भी सपा ने शोर-शराबा किया। शोर-शराबे के बीच ही सदन ने अपना आज का काम-काज निपटाया और अधिष्ठाता ने सदन को कल तक के लिए सदन स्थगित कर दिया। 



सपा, बसपा और कांग्रेस के सदस्यों ने छात्रों के उपर पुलिसिया कार्यवाही पर हंगामा किया


नेता प्रतिपक्ष अहमद हसन ने अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय समेत प्रदेश के अन्य विश्वविद्यालयों के छात्रों पर हुये लाठी चार्ज और राज्य में बलात्कार एवं अन्य घटनाओं का मामला उठाते हुए कहा कि आज देश तानाशाही की ओर जा रहा है। पढ़ाई-लिखाई के संस्थान तक सुरक्षित नहीं हैं, इसलिए प्रश्न प्रहर रोककर इस मुद्दे पर चर्चा करायी जाये। श्री हसन ने कहा कि लाठी-गोली की सरकार चल रही है। आधी रात में छात्रावासों में सो रहे छात्रों को पकड़कर पीटा जा रहा है। यहां तककि पुलिस ने छात्राओं को भी नहीं छोड़ा। प्रदेश की कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त है। सत्ता पक्ष के सदस्यों ने आपत्ति करते हुये कहा कि यह प्रश्न प्रहर है और किस नियम के तहत ये लोग अपनी बात रख रहे हैं। जिसपर कॉग्रेस एवं सपा के सदस्य वेल में आकर बैनर, पोस्टर लेकर सरकार विरोधी नारेबाजी करने लगे।  शून्य प्रहर में नेता प्रतिपक्ष अहमद हसन, शतरूद्र प्रकाश, बलराम यादव एवं अन्य सदस्यों ने केन्द्र सरकार द्वारा नागरिकता संशोधन बिल के संसद से पास हो जाने के बाद पूरे प्रदेश के विभिन्न जिलों में छात्र-छात्राओं के साथ पुलिस द्वारा किये गये दुव्र्यवहार के बाद उनके आन्दोलित होने का मामला कार्य स्थगन के रूप में उठाया। 



सपा के शतरूद्र प्रकाश ने कहा कि सरकार का व्यवहार दमनकारी, गैरजनतान्त्रिक है। छात्रावासों के कमरों में रात दो बजे घुसकर सो रहे छात्रों को मारा गया, लड़कियों को भी पुलिस ने मारा। उन्होंने कहा अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में एक समुदाय के लोग नहीं पढ़ते। बीएचयू में भी देश-विदेश के सभी वर्गों के छात्र पढने आते हैं। नागरिकता संशोधन अधिनियम के कानून बनने से छात्र नाराज हैं। उन्होंने कहा गुण्डाराज की तर्ज पर अब पुलिसराज हो गया। विपक्ष पर आरोप लगाना छोड़कर सरकार को हस्तक्षेप करना होगा और जिन पुलिस अधिकारियों ने छात्रों को दमनपूर्वक मारा है उनपर कार्रवाई की जाये। नेता विरोधी दल अहमद हसन ने कहा सरकार की दमनकारी नीतियों के खिलाफ नौजवान और जनता आन्दोलित हो रही है। नागरिकता बिल लाकर संविधान का मखौल उड़ाया जा रहा है। इस बिल के द्वारा वोट बैंक के लिए समाज को बांटने का काम किया जा रहा है।



विपक्षी सदस्यों की बातों का जवाब देते हुए नेता सदन डा.दिनेश शर्मा ने कहाकि राजनैतिक लाभ लेने के लिए लोगों द्वारा गलत अफ वाह फैलाकर यह दिखाने का प्रयास किया गया कि यह कानून एक वर्ग के खिलाफ है। हताश और निराश लोगों जिनको जनता ने नक्कार दिया उन लोगों के द्वारा यह अफवाह फैलाई गयी। आग बुझाने वाली पुलिस को आग लगाने वाली पुलिस का अफवाह फैलाया गया। किसी भी धर्म या जाति के खिलाफ इस कानून में कोई बात नहीं है। उन्होंने कहा राम जन्मभूमि पर अदालत का फैसला आया। कहीं कोई घटना नहीं हुयी। दुष्प्रचार करनेवालों कों अब मौका मिल गया तो सम्प्रदाय विशेष के लोगों को भड़काकर ऐसी घटनाएं करवा रहे हैं। 


 


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